देहरादून-श्री केदारनाथ धाम यात्रा हर वर्ष नए कीर्तिमान स्थापित कर रही है। बाबा केदारनाथ के दर्शन को देश विदेश से पहुंचने वाले श्रद्धालुओं का आंकड़ा नए रिकॉर्ड कायम कर रहा है। साथ ही स्थानीय लोगों के रोजगार को भी बढ़ती हुई यात्रा से लगातार लाभ मिल रहा है। शासन प्रशासन द्वारा यात्रा पर पहुंचने वाले श्रद्धालुओं को दी जा रही सुविधाओं से सरकार को भी भारी राजस्व प्राप्त हो रहा है।
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह ने कहा कि श्री केदारनाथ धाम यात्रा उत्तराखण्ड की आस्था और संस्कृति की धुरी बन चुकी है। सरकार का लक्ष्य केवल तीर्थयात्रियों को सुविधाएं देना नहीं, बल्कि स्थानीय युवाओं, महिलाओं एवं व्यापारियों को आर्थिक रूप से सशक्त बनाना भी है। हम प्रयासरत हैं कि यात्रा सुरक्षित, सुगम और समृद्ध बनाने की दिशा में हर संभव कदम उठाएं।
बाबा केदारनाथ के कपाट खुले एक महीने का समय पूर्ण हो चुका है और इसी एक महीने में सरकारी सुविधाओं से लेकर स्थानीय व्यापारियों ने दो अरब से अधिक का कारोबार कर लिया है। वहीं जून का महीना शुरू होने के बाद से श्रद्धालुओं की संख्या में लगातार इजाफा भी होने लगा है, जिसका स्थानीय व्यापारियों एवं महिला स्वयं सहायता समूहों को पूरा लाभ मिलेगा। रविवार 01 जून को बाबा के दर्शन करने वाले भक्तों की संख्या 07 लाख पार हो चुकी है। पिछले एक महीने का औसत निकला जाए तो प्रतिदिन 24 हजार श्रद्धालु बाबा के दर्शनों को केदारपुरी पहुंचे हैं।
गौरीकुंड से केदारनाथ धाम तक 20 किलोमीटर के इस पैदल मार्ग में असमर्थ एवं बुजुर्ग भक्त एवं खाद्य पदार्थ से लेकर अन्य अनिवार्य सामग्री को घोड़े खच्चरों से यात्रा मार्ग एवं केदारपुरी में पहुंचाया जाता है। मुख्य पशु चिकित्सा अधिकारी डॉ. आशीष रावत ने बताया कि 31 मई तक 1,39,444 श्रद्धालु घोड़े खच्चरों के माध्यम से दर्शनों को पहुंचे हैं। जिसके माध्यम से ₹40 करोड़ 50 लाख से अधिक की आय प्राप्त हुई है। उन्होंने बताया कि इस वर्ष संक्रामक बीमारी इक्वाइन इन्फ्लूएंजा वायरस के चलते कुछ दिन घोड़ा खच्चर संचालन प्रभावित भी रहा।
जिला पर्यटन अधिकारी एवं नोडल हेली सेवा श्री राहुल चौबे ने बताया कि इस वर्ष आठ हेली कंपनियां नौ हेलीपैड से हेलिकाप्टर का संचालन कर रही हैं। 31 मई तक लगभग 33,000 श्रद्धालु हेली सेवाओं के माध्यम से बाबा केदारनाथ धाम पहुंचे हैं। जिससे करीब ₹35 करोड़ की आय प्राप्त हुई है। श्री चौबे ने श्रद्धालुओं से अपील करते हुए कहा कि हेली बुकिंग के लिए आईआरसीटीसी की आधिकारिक वेबसाइट से ही बुकिंग की जाए।
अपर मुख्य अधिकारी जिला पंचायत रुद्रप्रयाग श्री संजय कुमार ने बताया कि इस वर्ष की यात्रा के लिए 7,000 से अधिक डंडी-कंडी संचालक पंजीकृत हैं। 31 मई तक 29,275 श्रद्धालु डंडी-कंडी के माध्यम से यात्रा कर चुके हैं, जिससे एक करोड़ 16 लाख, 89 हजार 100 रुपए की आय प्राप्त हुई है। वहीं गंदगी फैलाने एवं अन्य नियमों के उल्लंघन पर विभिन्न प्रतिष्ठानों का चालान कर 2,26,000 रुपए का अर्थदंड भी वसूला गया है।
सहायक परिवहन अधिकारी रुद्रप्रयाग श्री कुलवंत सिंह चौहान ने बताया कि इस वर्ष श्री केदारनाथ धाम यात्रा में शटल सेवा के लिए 225 गाड़ियां पंजीकृत हैं। 01 जून तक 7 लाख श्रद्धालु धाम में पहुंच चुके हैं। यानी अब तक टैक्सी संचालक करीब ₹7 करोड़ रुपए शटल सेवा के माध्यम से अर्जित कर चुके हैं। वहीं, इस वर्ष नई पहल करते हुए 25 गाड़ियां महिला एवं बुजुर्गों के लिए आरक्षित की गई हैं। पहले चरण में 25 वाहन ही इस हेतु लिए गए हैं। अगर प्रयोग सफल रहता है और अधिक गाड़ियों की आवश्यकता महसूस हुई तो गाड़ियों की संख्या बढ़ाई जा सकती है।
व्यापार संघ अध्यक्ष गौरीकुंड श्री रामचंद्र गोस्वामी ने बताया कि श्री केदारनाथ धाम यात्रा का स्वरूप हर वर्ष बढ़ता जा रहा है। एक महीने में यात्रा पर पहुंचे 7 लाख श्रद्धालुओं के हिसाब से औसत निकाला जाए तो ₹100 करोड़ होटल एवं रेस्तरां प्रतिष्ठानों ने कारोबार कर लिया है। जीएमवीएन के रीजनल मैनेजर श्री गिरवीर रावत ने बताया कि जीएमवीएन के 15 प्रतिष्ठान केदारनाथ यात्रा मार्ग पर हैं। जिसमें ध्यान गुफा भी शामिल हैं। इन सभी ने मिलकर एक महीने में ₹3 करोड़ 80 लाख 1582 का राजस्व प्राप्त किया है।